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टीम इंडिया को कहीं भारी न पड़ जाए Jasprit Bumrah का कार्यभार प्रबंधन

नई दिल्ली। लीड्स में हार के बावजूद भारत के मुख्य कोच गौतम गंभीर स्पष्ट कर चुके हैं कि जसप्रीत बुमराह को लेकर प्रबंधन अपनी रणनीति में कोई बदलाव नहीं करेगा और कार्यभार प्रबंधन के तहत बुमराह को दूसरे टेस्ट में विश्राम दिया जाएगा यानी बुमराह अब तीसरे व पांचवें मैच में खेलेंगे।

हालांकि गेंदबाजों का कार्यभार प्रबंधन आधुनिक क्रिकेट का अहम हिस्सा बन चुका है, लेकिन बड़ा सवाल है कि क्या बुमराह को नहीं खिलाने की रणनीति कितनी उपयुक्त है? एजबेस्टन की पिच पारंपरिक रूप से तेज गेंदबाजों का स्वर्ग रही है, जहां गेंद स्विंग और सीम दोनों करती है।

भारत का एजबेस्‍टन में रिकॉर्ड
वहां भारत को पहले से ही अपने रिकार्ड को लेकर चिंता रहती है क्योंकि अब तक भारतीय टीम इस मैदान पर जीत नहीं सकी है। ऐसे में टीम से सबसे अनुभवी और मैच विजेता तेज गेंदबाज को हटाना एक जोखिम भरा निर्णय लगता है।

भारतीय टीम ने लीड्स टेस्ट की दोनों पारियों में पांच शतक बनाए, लेकिन फिर भी मैच हार गए क्योंकि भारत का गेंदबाजी आक्रमण पूरी तरह से जसप्रीत बुमराह पर निर्भर है।

बुमराह सिर्फ तेज गेंदबाज नहीं हैं, वह भारत के मुख्य गेंदबाज हैं। जब भी विकेट की दरकार होती है, टीम उनकी ओर देखती है। चाहे नई गेंद से शुरुआत हो या पुरानी गेंद से रिवर्स स्विंग, बुमराह सभी परिस्थितियों में खतरनाक साबित हुए हैं।

भारत को रहना होगा सावधान
वहीं, जब विपक्षी बल्लेबाजों को पता होता है कि सामने बुमराह जैसा खतरनाक गेंदबाज नहीं है, तो वे मानसिक रूप से ज्यादा स्वतंत्र होकर खेलते हैं। भारतीय टीम सीरीज में पहले से ही 0-1 से पिछड़ रही है और अगले मैच में एक और हार सीरीज में वापसी की संभावना को लगभग खत्म कर देगी।

ऐसे में क्या यह समझदारी होगी कि भारत अपनी सबसे बड़ी गेंदबाजी ताकत को सिर्फ इसलिए न खिलाए क्योंकि उसे तीसरे और पांचवें टेस्ट में उपयोग करना है? कहीं ऐसा न हो कि तीसरा और पांचवां टेस्ट पहुंचने से पहले ही सीरीज भारत के हाथ से निकल जाए।

कौन होगा बुमराह का विकल्‍प?
बुमराह जैसे खिलाड़ी को एजबेस्टन जैसे अहम मुकाबले से बाहर रखना सिर्फ प्रबंधन का निर्णय नहीं होना चाहिए, बल्कि यह मैच की आवश्यकता के हिसाब से तय होना चाहिए। वरना बुमराह का कार्यभार प्रबंधन भारतीय टीम को भारी पड़ सकता है।

बुमराह के नहीं खेलने पर भारतीय टीम के पास उनके विकल्प के तौर पर अर्शदीप सिंह और आकाश दीप मौजूद हैं। अब देखना है कि गौतम गंभीर एजबेस्टन में किसे खिलाते हैं। अर्शदीप ने भारत के लिए सफेद गेंद से अच्छा प्रदर्शन किया है, लेकिन टेस्ट क्रिकेट में उनकी परीक्षा होनी बाकी है। वहीं आकाश दीप ने ऑस्ट्रेलिया में अपने प्रदर्शन से प्रभावित किया था।

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